पीजी कॉलेज धमतरी में सुवा नृत्य एवं गौरा-गौरी झांकी के साथ.राऊत नाचा का प्रदर्शन
मुकेश कश्यप
धमतरी :- बीसीएस शासकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय धमतरी के प्राचार्य डॉ श्रीदेवी चौबे के निर्देशन में सुवा नृत्य एवं गौरा गौरी झांकी सह राऊत नाचा का प्रदर्शन महाविद्यालय स्तर पर किया गया। इसका उद्देश्य लोक गीत एवं तिहार से जनमानस को अवगत करवाने के साथ इसके महत्व को उजागर करना है। सुआ गीत छत्तीसगढ़ का लोकगीत है जिसे दीपावली के पूर्व से लेकर दीपावली के अंतिम दिवस तक महिलाओं की ओर से गाया जाता है. सुआ नृत्य छत्तीसगढ़ का एक लोकनृत्य है और इसे केवल महिलाओं द्वारा किया जाता है. छात्राओं ने छत्तीसगढ की पारंपरिक वेशभूषा में नृत्य प्रस्तुत किया। इसी प्रकार गौरा गौरी झांकी एवं राऊत नाचा का जीवंत प्रस्तुतीकरण विद्यार्थियों द्वारा किया गया। छत्तीसगढ़ में गऊरा गऊरी उत्सव धूमधाम से मनाया जाता है। यह शिव और पार्वती को समर्पित है। यह लोक उत्सव प्रत्येक वर्ष दीपावली और लक्ष्मी पूजन के बाद मनाया जाता है। उक्त कार्यक्रम में विद्यार्थियों ने बढ़चढ़कर भाग लिया और अपनी संस्कृति का संरक्षण करते हुये आगे आने वाली पीढ़ी को अपने छत्तीसगढ़ के लोक उत्सव से अवगत करवाया,सुवा नृत्य में प्रथम स्थान अपर्णा एवं साथी,द्वितीय स्थान पायल एवं साथी तथा तृतीय अनामिका एवं साथी स्थान रहें। गौरा गौरी झांकी में प्रथम स्थान वारूणी एवं साथी तथा द्वितीय स्थान संकेत एवं साथी रहें । निर्णायक मंडल में प्रो. पी. सी. चौधरी, प्रो. जयश्री पंचांगम एवं डॉ वेदवती देवांगन रहें। उक्त कार्यक्रम में डाॅ. अनिता राजपुरिया, डाॅ. प्रभा वेरुलकर, डाॅ मनदीप खालसा,डाॅ सरला द्विवेदी,डाॅ तामेश्वरी साहू, प्रो आकांक्षा मरकाम, प्रो पल्लवी सेन, श्रीमती निशा तिवारी , प्रो किशोर चेलक, प्रो गोविंद प्रसाद, श्री कुशल चोपड़ा, श्री अभिषेक मिश्रा , लीना विभा,टिमेश ,रश्मि ,हस्मिका,लुकेश्वरी,हेमचरण,कुशल डिंडोलकर,तरूण सोनकर, उदय, विवेक, खुशी, लुकेश्वरी, खोमेश्वरी,अनिता,चंचल,अभिषेक,वैभव,केशिओम, यामिनी एवं अन्य एनएसएस स्वयंसेवक ,एनसीसी कैडेट्स समस्त महाविद्यालयीन विद्यार्थी उपस्थित रहें ।